Cornnel university एक विश्व प्रसिद्ध विद्या संस्थान है । उनके संशोधकों का निष्कर्ष कहता है की लंबा बचपन, और माता की प्रेमपूर्ण देखभाल के कारण ही मनुष्य दीर्घायु है।
लालयेत् पञ्च वर्षाणि
चाणक्य ने सोच समझकर कहा है की पहले पाँच वर्ष बालक का पूर्ण रूप से लालन पालन हो! वही उसका शिक्षण है!
गुजरात में जागरूक मातापिता संचालित शिक्षण व्यवस्था में माता ही शिक्षक है!
मनुष्य बाल के दीर्घायु होने हेतु लंबा बचपन के साथ साथ पूर्ण विकसित मातृत्व आवश्यक है!
अब सोचो? क्या होगा जब बच्चों को स्कूल जैसे जेल के हवाले छोटी आयु में ही कर दिया जाए? माता की ऐसी नौकरी हो की दिन के ठीक से 2 घंटे भी बालक के नसीब में न हो! एक रूप से यह बालक की जिजीविषा (लंबी आयु) पर आघात है!
Our results suggest that the slow life histories of humans and other primates as well as other long-lived, highly social animals such as hyenas, whales, and elephants are partially the result of the strong maternal care that these animals display. We have designed our models to be readily parameterized with demographic data that are routinely collected by long-term researchers, which will facilitate more thorough testing of our hypothesis.